किश्तवाड़ में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़, जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी छिपे होने की आशंका

किश्तवाड़
जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ जिले के दच्छन इलाके में आतंकियों और सुरक्षाबलों के बीच मुठभेड़ शुरू हो गई है. शुरुआती जानकारी के अनुसार आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े आतंकियों के एक समूह के इलाके में छिपे होने की आशंका है. सुरक्षाबलों ने सूचना के आधार पर इलाके को घेर लिया है और सर्च ऑपरेशन जारी है. बताया जा रहा है कि कुछ आतंकी छिपे हुए हैं और सुरक्षा बलों ने उन्हें चारों ओर से घेर लिया है.

समाचार एजेंसी के मुताबिक अधिकारियों ने बताया कि यह मुठभेड़ उस समय शुरू हुई जब पुलिस और सेना ने खुफिया जानकारी के आधार पर दच्छन और नगसेनी के बीच स्थित खानकू जंगल में तलाशी अभियान शुरू किया. सर्च ऑपरेशन के दौरान जंगल में छिपे आतंकियों ने सुरक्षाबलों को देखते ही फायरिंग शुरू कर दी. जवाब में सुरक्षाबलों ने भी मोर्चा संभालते हुए गोलियां चलाईं. ये मुठभेड़ कुछ समय तक चली, हालांकि किसी के घायल या हताहत होने की खबर नहीं है.अधिकारियों के अनुसार इलाके में अतिरिक्त सुरक्षाबलों को भेजा गया है और ऑपरेशन अब भी जारी है. सुरक्षाबल जंगल में छिपे आतंकियों की घेराबंदी कर उन्हें पकड़ने या निष्क्रिय करने का प्रयास कर रहे हैं.

सुरक्षाबलों का कड़ा एक्शन
किश्तवाड़ में एनकाउंटर की घटना से एक दिन पहले ही यानी शनिवार को जम्मू-कश्मीर पुलिस की काउंटर-इंटेलिजेंस विंग ने आतंकवादी फंडिंग और भर्ती मॉड्यूल से जुड़े एक अत्यंत संवेदनशील मामले में बड़ी कार्रवाई करते हुए श्रीनगर, पुलवामा, बडगाम और गंदरबल जिलों से 10 संदिग्धों को हिरासत में लिया था. इन सभी पर पाकिस्तान के निर्देश पर आतंकवादी गतिविधियों के समन्वय, वित्तपोषण और उन्हें अंजाम देने का आरोप है.

जांच में बड़े खुलासे
जांच में खुलासा हुआ कि ये सभी संदिग्ध एक विशेष एन्क्रिप्टेड मैसेजिंग एप्लिकेशन के जरिए लगातार संपर्क में थे. इसी एप्लिकेशन का उपयोग आतंकी संगठनों द्वारा रिक्रूटमेंट, फंडिंग और हमलों के समन्वय के लिए किया जा रहा था. यह पूरा नेटवर्क पाकिस्तान स्थित आतंकी हैंडलर अब्दुल्ला गाजी संचालित कर रहा था, जो लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद जैसे संगठनों से जुड़ा हुआ है.

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