रायपुर। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत इन दिनों 5 दिवसीय छत्तीसगढ़ प्रवास पर हैं. संघ प्रमुख का 27 अगस्त से 31 तक कार्यक्रम राजधानी में चल रहा है. लेकिन मोहन भागवत के इस दौरे को लेकर कलेक्टर गौरव सिंह पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के निशाने पर आ गए हैं. उन्होंने कलेक्टर पर निशाना साधते हुए संघ प्रमुख के कार्यक्रम के लिए सरकारी तंत्र के दुरुपयोग का आरोप लगाया है. उन्होंने यह भी पूछा है कि कलेक्टर संघ का सदस्य तो नहीं ?
दरअसल, बघेल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर रायपुर के RSS कार्यालय में कलेक्टर द्वारा आपातकालीन चिकित्सा सेवाओं से संबंधित अधिकारियों और कर्मचारियों की ड्यूटी लगाए जाने के आदेश की कॉपी साझा करते हुए लिखा, “मोहन भागवत जी आरएसएस के प्रमुख हैं, जैसा कि संघी दावा करते हैं कि आरएसएस एक सांस्कृतिक संस्था है और इसका भाजपा से कोई संबंध नहीं। लेकिन यह एक बड़ा झूठ है।”
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कहा कि आरएसएस कोई पंजीकृत संस्था नहीं है, और मोहन भागवत जी किसी संवैधानिक पद पर नहीं हैं। उन्होंने यह भी सवाल किया कि ऐसे में कलेक्टर महोदय किस हैसियत से उनका कार्यक्रम जारी कर रहे हैं और डॉक्टरों की ड्यूटी किस आधार पर लगाई जा रही है?
पूर्व मुख्यमंत्री ने यह भी आरोप लगाया कि यदि कलेक्टर संघ के सदस्य हैं, तो उन्हें सरकारी तंत्र का दुरुपयोग नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा कि कलेक्टर को गुरुदक्षिणा देने के बजाय अपने कर्तव्यों का पालन करना चाहिए और इस आदेश को तुरंत रद्द किया जाना चाहिए।
पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल की एक्स पोस्ट
मोहन भागवत जी राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ यानी आरएसएस के प्रमुख हैं।
जैसा कि संघी कहते हैं आरएसएस एक सांस्कृतिक संस्था है और इसका भाजपा से कोई लेना देना नहीं। (कितना बड़ा झूठ है)
सच यह है कि आरएसएस कोई पंजीकृत संस्था नहीं है। यानी उसकी कोई वैधानिक स्थिति नहीं है।
मोहन भागवत जी…
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) December 30, 2024