पंजाब की मंडियों में चल रही ‘वजन चोरी’, एजेंट और अधिकारी ऐसे कर रहे किसानों के साथ छल

चंडीगढ़ 
पंजाब के किसानों का आरोप है कि उनकी फसल को कम तौला जा रहा है. खासकर कुछ चावल मिलों की ओर से ऐसा किया जा रहा है. किसानों का आरोप है कि पंजाब के निजी और सरकारी अधिकृत धान केंद्रों पर आढ़तियों यानी कमीशन एजेंटों की तरफ से ऐसा किया जा रहा है. कई जिलों के किसानों का दावा है कि कुछ एजेंट, कुछ मंडी अधिकारियों के साथ मिलीभगत कर रहे हैं. इस वजह से वास्तविक उपज से कम वजन दिखाने के लिए तौल और तराजू में हेराफेरी की जा रही है. इससे उन्हें अपनी धान की उपज का सही पैसा नहीं मिल पा रहा है.

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, जब कोई किसान अपनी फसल मंडी में लाता है, तो उसे पहले बिजली के पंखे के सामने सुखाया जाता है, फिर बोरियों में रखा जाता है और बाद में बोरियों की सिलाई से पहले तौला जाता है. फिर इसे मिलों में ले जाया जाता है. यहां पर इसे मिलों में रखा जाता है. पंजाब में सरकार की तरफ से खरीदा गया सारा धान पहले 5,000 से ज़्यादा चावल मिलों में संग्रहीत किया जाता है और मिलिंग के बाद, चावल भारतीय खाद्य निगम (FCI) को आपूर्ति किया जाता है.

प्राइवेट मंडियों में मंगा रहे हैं फसल की उपज
कई किसानों और मंडी सूत्रों के मुताबिक, कुछ कमीशन एजेंट अपने साथ जुड़े किसानों को सरकारी मंडियों के बजाय निजी मंडियों में अपनी उपज लाने के लिए कह रहे हैं. किसानों का आरोप है कि मंडियों में एजेंटों की तरफ से तराजू में पहले से ही छेड़छाड़ की जाती है और प्रति क्विंटल धान का असली वजन 2 से 3 किलोग्राम कम दिखाया जाता है. ऐसे में प्राइवेट प्रतिष्ठानों में तौल मशीनों पर अक्सर पर्याप्त सरकारी निगरानी नहीं होती. आरोप है कि ये एजेंट कम वजन दिखाकर बाकी पैसे हड़प लेते हैं. किसानों का आरोप है कि आर्थिक रूप से की जा रही इस हेराफेरी की वजह से किसानों को प्रति ट्रॉली धान पर हजारों रुपये का नुकसान हो सकता है. बेमौसम बारिश और कीटों से हुए नुकसान के कारण इस सीज़न में पहले से ही कम पैदावार से जूझ रहे किसानों ने कहा कि कम तौल एक और झटका है. कई किसानों ने बताया कि इस साल उनकी फसल सामान्य पैदावार की तुलना में प्रति एकड़ 5 से 10 क्विंटल कम है.

मंडी बोर्ड के अधिकारी ने क्या कहा?
वहीं मंडी बोर्ड के एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा कि जैसे-जैसे पंजाब में धान की खरीद आगे बढ़ रही है, किसानों को उम्मीद है कि ज्यादा सतर्कता, डिजिटल निगरानी और अपराधियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई से उस प्रणाली में विश्वास बहाल होगा जो लंबे समय से राज्य की कृषि अर्थव्यवस्था की रीढ़ रही है.

 

Recent Post

Live Cricket Update

You May Like This

error: Content is protected !!

4th piller को सपोर्ट करने के लिए आप Gpay - 7587428786