पंजाब
पंजाब में बाढ़ ने तबाही मचा दी है। राज्य के 23 जिलों के 1960 गांव बाढ़ की मार झेल रहे हैं, जहां 1.74 लाख हेक्टेयर फसलें प्रभावित हुई हैं और 46 लोगों की मौत हो चुकी है। इसके अलावा, लाखों लोगों के घर और सामान का नुकसान हुआ है। पंजाब सरकार के शुरुआती अनुमानों के अनुसार, राज्य को बाढ़ से अब तक 13,000 करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ है।
पंजाब के मुख्य सचिव केएपी सिन्हा के नेतृत्व में विभिन्न विभागों के अधिकारियों ने शनिवार को चंडीगढ़ में केंद्रीय टीम के सदस्यों के साथ बैठक में यह आंकड़े साझा करते हुए राज्य के लिए विशेष राहत पैकेज की मांग की।
केंद्रीय टीम को बताया गया कि किसानों के पशुधन का भी काफी नुकसान हुआ है। लगभग एक दर्जन जिलों की सड़कें, पुल, बिजली ट्रांसफार्मर, स्कूल, स्वास्थ्य संस्थान और कई अन्य बुनियादी ढांचे क्षतिग्रस्त हुए हैं। सबसे ज्यादा नुकसान गुरदासपुर और अमृतसर में हुआ है।
अधिकारियों ने राज्य आपदा प्रतिक्रिया कोष के मुआवजा नियमों में संशोधन की मांग भी की, ताकि पीड़ितों को उचित मुआवजा दिया जा सके। उन्होंने कहा कि किसानों को फसल क्षति के लिए 6800 रुपये प्रति एकड़ के बजाय 50 हजार रुपये प्रति एकड़ दिए जाने चाहिए। जनहानि के लिए 4 लाख रुपये के बजाय 8 लाख रुपये दिए जाने चाहिए।
इसके अलावा, विकलांगता के लिए 1.5 लाख रुपये और दुधारू पशु की मौत पर 75 हजार रुपये दिए जाएं। उन्होंने कहा कि जिन लोगों की छतें गिर गई हैं, उनके मुआवजे में भी वृद्धि की जानी चाहिए। हालांकि, पंजाब सरकार के विभिन्न विभाग बाढ़ से हुए नुकसान का आकलन कर रहे हैं और अंतिम रिपोर्ट बाढ़ खत्म होने के बाद ही तैयार की जाएगी। गौरतलब है कि केंद्रीय अधिकारियों की एक टीम 4 सितंबर को पंजाब पहुंची थी और उसने दो दिनों तक विभिन्न बाढ़ प्रभावित जिलों का दौरा किया।