गरियाबंद। लोकसभा चुनाव परिणाम के बाद प्रदेश में नगरीय निकाय चुनाव का बिगुल बजने वाला है । स्थानीय नगर पालिका गरियाबंद में माह नवम्बर में निकाय चुनाव की संभावनाए है, इस बार प्रदेश में निकाय चुनावमें अध्यक्ष का चुनाव प्रत्यक्ष जनता द्वारा चुने जाने की अटकलें लगाई जा रही है । प्रदेश सरकार निकाय चुनाव में परिवर्तन करने की मंशा जाहिर कर रही है । इन्हीं संभावनाओं को देखते हुए स्थानीय भाजपा व कांगे्रस के पार्टी के नेता सक्रिय हो गये है । ज्ञात हो कि गरियाबंद नगर पालिका में 15 वार्ड है, जहां से 15 पार्षदों का चुनाव होता है, राजनैतिक दल भाजपा व कांग्रेस के अलावा निर्दलीय प्रत्याशी भी चुनाव समर उतरते है । गरियाबंद पालिका में वर्तमान समय में पालिका अध्यक्ष भाजपा का है ।
नगरीय निकाय चुनाव को लेकर गरियाबंद में भारी उत्सुकता का माहौल अभी से देखा जा रहा है, हालांकि चुनाव के लिए 4 माह का समय बचा हुआ है । नवम्बर में चुनाव होगा इसके लिए रणनितियां बनने लगी है। लोकसभा एवं विधानसभा चुनावों में कांग्रेस की हार से कांगे्रसजन थोड़ा निराश है ।
गरियाबंद निकाय चुनाव को लेकर भाजपा व कांगे्रस पार्टी में बैठकों का दौर शुरू हो चुका है। गत दिनों भाजपा कार्यालय में चुनाव को लेकर मथंन हुआ वहीं राजिम के पूर्व विधायक शुक्ल ने सर्किट हाउस में कांगे्रस कार्यकर्ताओं की निकाय चुनाव को लेकर बैठक की ।
चुनाव को लेकर दोनों पार्टियों के नवयुवकों व महिलाओं में जबरदस्त उत्साह रेखा जा रहा हैं । निकाय चुनाव में अध्यक्ष का चुनाव प्रत्यक्ष प्रणाली से होने की संभावनाओं को देखते हुये अनेक दावेदार सक्रिय दिखाई देने लगे है । अध्यक्ष का पद इस बार पुरूष या महिला के लिए आरक्षित होगा ? इसकी भी अटकले लगाई जा रही है कि गरियाबंद नगर पालिका इस बार महिलाओं के लिए आरक्षित होगा या ओ.बी.सी. अथवा सामान्य? इसी ऊहापोह के बीच नेता अभी उलभुन में है ये क्लीयर होने के बाद ही सारे के सारे लोग खुलकर सामने आएगें ।
अध्यक्ष का चुनाव डायरेक्ट होगा इसके लेकर दावेदार नेताओं में ज्यादा उमंग है भाजपा से दावेदारों में संभावित नाम परस देवांगन, आफिफ मेमन, सुरेन्द्र सोनटेके, गफ्फू मेमन, वहीं महिलाओं में श्रीमती मिलेश्वरी साहू, रेणुका साहू, आदि नामों की चर्चा है। कांगे्रस पार्टी से संदीप सरकार, रितिक सिन्हा, गैंदलाल सिन्हा, महिलाओं में श्रीमती प्रतिभा पटेल, श्रीमती ललिता सिन्हा आदि अध्यक्ष पद दावेदार हो सकते है । इसके अलावा निर्दलीय भी विभिन्न वार्डो में अपनी किस्मत अजमायेगें, येतो अभी संभावनाए है, सही चयन व उम्मीदवारी दोनों पार्टी को संगठानात्मक सहमति के बाद होगा ।